सर्वार्थसिद्धि योग में आज बहनें बांधेंगी भाई की कलाई पर राखी, ये है शुभ मुहूर्त

 सर्वार्थसिद्धि योग में आज बहनें बांधेंगी भाई की कलाई पर राखी, ये है शुभ मुहूर्त

राज्य ब्यूरो मोहम्मद आसिफ खान संपादक बीरेंद्र कुमार चौधरी

इस बार रक्षाबंधन का पर्व सोमवार के दिन श्रवण नक्षत्र की साक्षी में आया है। –

दोपहर 1.30 बजे से शाम 7 बजे तक है साढ़े पांच घंटे शुभ मुहूर्त।
दोपहर में मालवा की परंपरा अनुसार श्रवण पूजन करेंगी महिलाएं।

उज्जैन। श्रावणी पूर्णिमा पर आज सोमवार को रक्षाबंधन का त्यौहार मनाया जाएगा। बहनें दीर्घायु व मंगल जीवन की कामना से अपने भाई की कलाई पर राखी बांधेंगी। इस बार सर्वार्थसिद्धि योग में दोपहर 1.30 बजे से शाम 7 बजे तक साढ़े पांच घंटे श्रवण भगवान के पूजन व राखी बांधने का शुभ मुहूर्त है। बहने इस शुभ योग में भाइयों को राखी बांध सकती हैं।

विशिष्ट योग की स्थिति

ज्योतिषाचार्य पं.अमर डब्बावाला ने बताया इस बार रक्षाबंधन का पर्व सोमवार के दिन श्रवण नक्षत्र की साक्षी में आया है। भारतीय ज्योतिष शास्त्र के अनुसार वार, तिथि, योग, नक्षत्र, करण का अपना विशेष प्रभाव होता है। जब किसी वार के साथ कोई नक्षत्र विशेष का संयोग होता है तो विशिष्ट योग की स्थिति को निर्मित करता है। ऐसे विशिष्ट योग में पर्व काल व उत्सव विशेष महत्व रखते हैं।

श्रवण नक्षत्र विशेष रूप से पूजनीय

19 अगस्त सोमवार के दिन श्रवण नक्षत्र के होने से यह सर्वार्थ सिद्धि नाम का योग बन रहा है सोमवार का दिन श्रवण नक्षत्र विशेष रूप से पूजनीय माना जाता है।
इस दिन सर्वार्थ सिद्धि के साथ-साथ रवि योग का भी अनुक्रम रहेगा। यही नहीं ग्रहों में केंद्र त्रिकोण का संबंध भी बनेंगे।
यह स्थिर समृद्धि व धार्मिक उन्नति का भी सूचक है। इस दृष्टि से रक्षाबंधन का पर्व भाई तथा बहनों के लिए विशेष शुभकारी रहेगा।
चिंतामन व बड़े गणेश को बंधेगी राखी

चिंतामन गणेश व बड़े गणेश मंदिर में भी रक्षा बंधन का त्यौहार मनाया जाएगा। चिंतामन गणेश के पुजारी पं.शंकर गुरु ने बताया सुबह 6 बजे भगवान चिंतामन गणेश का अभिषेक पूजन कर विशेष शृंगार किया जाएगा। सुबह 8 बजे आरती के समय भगवान चिंतामन गणेश को लोकमंगल व राष्ट्र में सुख समृद्धि की कामना से राखी बांधी जाएगी।

इसी प्रकार बड़े गणेश मंदिर में अखंड भारत व लोकतंत्र की उन्नति व प्रगति के लिए बड़े गणेश को राखी बांधी जाएगी। देश विदेश में रहने वाली अनेक महिलाएं बड़े गणेश को अपना भाई मानती हैं और हर साल भगवान के लिए राखी भेजती हैं। पुजारी शुभ मुहूर्त में बहनों के नाम व गोत्र के आधार पर बड़े गणेश को राखी बांधते हैं।

उज्जैन की गिरिजेश सोनी ने बनाई तीन फीट की राखी

महाकाल वाणिज्य केंद्र निवासी प्रोफेसर गिरिजेश सोनी भगवान बड़े गणेश को अपना भाई मानती हैं। वे बीते 24 सालों से भगवान के लिए राखी बनाती आ रही हैं।
इस बार भी उन्होंने ओलंपिक-2024 की थीम पर बड़े गणेश के लिए करीब तीन फीट की विशाल राखी बनाई है।
गिरिजेश ने बताया वे राजस्थान के झालावाड़ जिले के मनोहर थाना गांव की रहने वाली हैं। सन 2000 में उनका विवाह उज्जैन के राजेंद्र कुमार सोनी के साथ हुआ।
ससुराल आने पर स्वजन उन्हें बड़े गणेश मंदिर के दर्शन करने लेकर गए, उसी दिन से वे भगवान को अपना भाई मानने लगी तथा हर साल रक्षाबंधन पर उनके लिए राखी बनाती आ रही है।
श्रावणी उपाकर्म करेंगे ब्राह्मण, यहां आयोजन

सिंहपुरी के यजुर्वेदीय ब्राह्मण शिप्रा के रामघाट पर श्रावणी उपाकर्म करेंगे। पं.उमाकांत शुक्ल के आचार्यत्व में ब्राह्मण हेमाद्री स्नान, दश विधि स्नान, पंचगव्य प्राशन, देव,ऋषि, पितृ तर्पण पश्चात गणेश व सप्तऋषि का पूजन कर नई जनेऊ धारण करेंगे।

गायत्री शक्तिपीठ पर श्रावणी उपाकर्म का आयोजन होगा। पश्चात सुबह 9 बजे यज्ञ,चांद्रायण साधना की पूर्णाहुति, रक्षाबंधन तथा पौधारोपण किया जाएगा।

श्री गुरुआश्रम द्वारा गोवर्धन सागर पर श्रावणी उपाकर्म किया जाएगा। आश्रम संचालक आशुतोष शुक्ला ने बताया उपाकर्म संस्कार आचार्य पं.कृष्णेश शुक्ल द्वारा संपन्न कराया जाएगा।